धीरे बोलो कोई सुन न ले !! ये बात हम सब की कान में अक्सर कभी न कभी सुने होंगे । लेकिन कभी हमने ये सोची है की यह बात कब कब मुँख से निकलता है और कब कब सुनने को मिलता है । बहुत ही काम ऐसे मामले होते है जिसे हम दूसरे की कान में जाने देना नहीं चाहते। अक्सर हमारे परिवार में अशांति का कारन हमारे परिवार में हम या कोई हमारा परिवार का ही सदस्य होता है।
भले हम इस बात को देख या समझ पाए या न। क्यूंकि कभी बातों ही बातों में कोई बात हम, जब दूसरे को बता देते है तो बाद में पछतावा होता है की ये बात हमें नहीं बतानी चाहिये था। और कभी कभी यही बातें जो हम जाने अनजाने किसी दूसरे को बता देते है, बाद में पछतावा अथवा झगड़े का कारण बन जाता है।
तो अब आइए अब जानते है वो महतपूर्ण बातें जो हमें किसी को नहीं बताने नहीं चाहिये ।
1. अपनी मज़बूरी :
कभी भी अपनी मज़बूरी का दिखावा करके और दूसरे का दया पात्र बनके , किसी की सहायता लेने की गलती न करे। हो सकता है की कोई आज आपकी मज़बूरी देखकर आज सहायता कर दे , कल वो आपकी फाय जरूर उठाएगा । और अगर फायदा नहीं उठाया तो दुसरो के सामने आपका मजाक बनाने में कभी भी नहीं चुकेगा। इसलिए अच्छा है की आप कभी भी अपनी मज़बूरी की दिखावा न करें ।
2. अपनी अतीत की गलती और भविष्य की रणनीति:
अगर हम अतीत की गलतियां दूसरे को कभी न बताये क्योंकि आपको भी पत्ता है की उन गलतियों को तो दूर किया नहीं जा सकता । तो उनको बताने का भी कोई मतलब नहीं है। आप अपने अँधेरे पक्ष को खुद दुनिया के सामने रख रहे हो। यानि दुसरो को बात रहे हो। इससे किसी भी आदमी के अंदर आपके प्रति एक नकरात्मक सोच बानी रहेगी। और वो हमेशा आपको इसी नजरिये से देखेगा ।
इसमें दूसरी बात है की आपके भविष्य की रणनीतियाँ : तो आप ही सोचो कीआप अपने भविष्य की रणनीतियाँ खुद दुसरो को बात रहे हो । जो लोग आपके काम का हिंसा ही नहीं है उनके सामने अपनी भविष्य की रणनीतियाँ बताने का क्या फायदा । वो लोग आपकी सहायता तो नहीं करेंगे लेकिन आपकी भविष्य की रणनीतियाँ ख़राब जरुरु कर सकते है।
3. अपने घर की बातें :
कभी भी हमारे आपने बीच की बातें , हमारे माँ बाप के बीच की बातें , हमारे पत्नी के साथ, हमारे बच्चो के साथ की बातें किसी को भी न बताएं । यह सभी पत्रकार की बातें हमारे बीच ही रहनी चहिये। अगर ये बातें हम दुसरो को बताते है तो दुसरो को हमारे परिवार और घर में घुसने का मौका प्रदान करता है , जो की काफी नुकशानदेह है । वो हमारे घर परिवार की मजाक उड़ाएंगे और हमारे परिवार के सदस्यों को दूर करने की कोसिस करेंगे । अक्शर ऐसा होता है , की हम अपने घर परिवार के समस्यां को दूर करने के लिए अपने अगल बगल के लोगो अथवा सगे सम्बन्धियों को अपने परिवॉर की बातें बता देते है। लेकिन आप महसुस करेंगे की इससे आपको समाधान कम मिलेगा और समस्यां ज्यादा हुआ होगा। बल्कि आपके परिवार की लड़ाई झगडे और बढ़ेंगे। इसीलिए अपने घर की बातें और लड़ाई झगडे कभी किसी को न बताएं।
4. अपनी आमदनी :
यह सुनकर आपको आश्चर्य हो सकता है । आप गौर की अगर आप अपनी आमदनी दूसरों को बताते है तो , जब उन्हें जरूरत पड़ेगी तो उनको सबसे पहले आपकी याद आएगी, क्यूंकि वो सोचेंगे की आपकी आमदनी ज्यादा अच्छी है । और किसी कारणवश आप अगर पैसे न दे पाए तो यह एक मतभेद पैदा करेगा। क्यूंकि ऐसे लोग हमेशा यही सोचेंगे की आपके पास पैसा है और आप देना नहीं चाहते। और अगर आपकी आमदनी काम हुई तो भी लोग आपकी मजाक उड़ाएंगें।
5. आपकी कमजोरी और आपकी ताकत
अक्सर इंसान को अपनी कमजोरी या अपनी ताकत पता नहीं होती है और अगर आपको अपनी कमजोरी या अपनी ताकत पता है तो इसे किसी के साथ साझा न करें। क्यूंकि अगर आपकी कमजोरी किसी को पत्ता चल गयी तो वो आपकी कमजोरी का फायदा उठायेंगे। और आपकी ताकत उन्हें पता चल गयी तो वही ताकत आगे चलकर आपकी कमजोरी बन जायगी। क्यूंकि वो ताकत दुसरो को पत्ता है। और दूसरा आपकी ताकत का खाट भी ढूढ़ ही लेगा।